agastilaxmii_2
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7/21/2019 agastilaxmii_2
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॥ ◌ौल ं अगरचतम ॥्
.. agasta rachita shrIlakShmI stotra ..
sanskritdocuments.org
April 10, 2015
7/21/2019 agastilaxmii_2
http://slidepdf.com/reader/full/agastilaxmii2 2/5
Document Information
Text title : agastya rachita shrIlakShmI stotra
File name : agastilaxmii.itxLocation : doc_devii
Author : agasti
Language : Sanskrit
Subject : philosophy/hinduism/religion
Transliterated by : http://www.webdunia.com
Proofread by : http://www.webdunia.com
Latest update : November 22, 2001
Send corrections to : [email protected]
Site access : http://sanskritdocuments.org
7/21/2019 agastilaxmii_2
http://slidepdf.com/reader/full/agastilaxmii2 3/5
॥ ◌ौल ं अगरचतम ◌॥्॥ ◌ौल ं अगरचतम ॥्
सलन ◌ः डा ।ॅ मन ◌ौव◌ाल◌ार ‘मन’ऋषवर अग ◌ारा रचत ◌ौल यह अ
फलदाय ह ै ।जय पपलाशा जय ◌ं ◌ौपत◌ूय े ।जय मातम हाल स संाराण वतारण ॥
महाल नम ु ं नम ु ं स रु ेर ।हर◌ूय े नम ु ं नम ु ं दयानध े ॥
प◌ालय े नम ु ं नम ु ं च सव द े ।सव भ तहताथा य वस वुृ◌ं सद◌ा क ु ॥
जग◌ातन म ु ं नम ु ं दयानध े ।दयावत नम ु◌ंव ेर नमऽ ु त े ॥
नमः राण वस तु े नम लैधारण ।वस वुृ े नम ु ं र मा ं शरणागत ं ॥
र ◌ं द वेद वे ेश द वेद वे वभ े ।दिरा◌ाह मा ं ल क ृ पा ं क ु ममपर ॥
नम◌ैलजनन नम◌ैलपावन ।◌ॄ◌ादय नम े ◌ा ं जगदानदायन ॥
व ु◌ूय े नम ु ं नम ु ं जगत े ।आत ह नम ु ं समृ ं क ु म े सदा ॥
अवास े नम ु ं चपलायैनम नमः ।चलाय ै नम ु◌ंललताय ै नम नमः ॥
नमः ◌ू ुजनन मात ु ु ं नम नमः ।
परपालय भ मातमा त ु ं शरणागत ं ॥शरय े ◌ा ं ◌ूपऽ कमल े कमलालय े ।
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2 ॥ ◌ौल ं अगरचतम ॥्
◌ाह ◌ाह महाल पर◌ाणपरायण े ॥
पाड ं शभत े न◌ैव न शभ ग णुा नर े ।
शल◌ंन वै शभ ते महाल या वना ॥तावराजत े प ं तावल ं वराजत े ।ताव णुा नराणा ं च याव◌ः ◌ूसदत ॥
लयाल तमानवा य े पाप ैव म ुता नपृलकमा◌ाः ।ग णु ैव हना ग ुणन भव शलनः शलवता ं वर◌ाः ॥
लभ षयत े प ं लभ षयत े क ुल ं ।लभ षयत े व◌ा ं सवा व शत े ॥
ल णुकत न ने कमलाभ या ल ं जता ं ।ि◌ा◌ा रवचद वेपतय वत ु ं च न ◌ैव माः ॥
अ◌ाभव पलणग णुात ु ं कथ ं शत े ।मातमा परपाह वजनन क ृ ◌ा मम े ं ◌ी वु ं ॥
दनात भत ं भवतापपडत ं धन◌ैव हन ं तव पा मागत ं ।क◌ृ पानध◌ाम ल सरं धनूदाना◌ायक◌ं क ु ॥
मा ं वल जनन हर◌ूय े । नध न ं मपमागत ं ॥द ेह म े झटत ल । करा ं वकानवराम तु ं ॥
म वे जनन ल पता ल म वे च ॥
◌ाह ◌ाह महाल ◌ाह ◌ाह स रु ेर ।◌ाह ◌ाह जग◌ातद िरा◌ाह व गेतः ॥
नम ु◌ं जग◌ा नम ु◌ं नम नमः ।
धमा धार े नम ु ं नमः सदायन ॥दिराण वमऽह ं नमऽह ं रसातल े ।म ं मा ं कर े ध ृ◌ा स र ◌ं रम े ि◌ ुत ं ॥
क ं ल बनत ने जत ने प नुः प नुः ।अ े शरण ं ना स ं स ं हर◌ूय े ॥
एत◌ौ ु◌ाऽगवा ं माण हर◌ूया ।
उवाच मध रुा ं वाण त ु◌ाह ं तव सव दा ॥लवाच
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॥ ◌ौल ं अगरचतम ॥् 3
ययतमदं ं यः पठत मानवः ।णत च महाभाग◌ाह ं वशवत न ॥
न◌ं पठत य भ◌ा ल नँयत ।रण नँयत े त◌ो ं वयग ं न ◌ैव पँयत ॥
यः पठ े◌ात◌ाय ◌ौ◌ा-भतसमतः ।ग हृ े त सदा ◌ा े न ं ◌ौपतना सह ॥
स खुसभायस मन ब ुमान भ्व ते ।्प ुवान ग् णुवान ◌्ौ े भगभता च मानवः ॥
इद ं ं महाप ुय ं लग◌ूकत त ं ।
व ◌ुूसादजनन ं चत वु ग फलूद ं ॥राज◌ार े जय◌ैव श◌ैव पराजयः ।भ त ू तेपशाचाना ं ◌ा◌ाणा ं न भय ं तथा ॥
न श◌ानलतयघाय ं त ◌ूजायत े । व ृ ◌ाना ं च पापाना ं बहानकर ं पर ं ॥
मराकरशालास ु गवा ं ग े समाहतः ।
पठ ेषशाथ महापातकनाशनं॥सव सकर ं न णृामाय रुारयद ं तथा ।अगॐआम ुनना ◌ूतं ◌ूज◌ान◌ां हतक◌ाया ॥
॥ इगवरचतं ल◌ं स ण ॥
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.. agasta rachita shrIlakShmI stotra ..
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